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ज्योत्सना
ज्योत्सना

अपनी लेखनी को भला, क्यों मैं विराम दूं, अपने मनोबल को  मै और क्यू ना मान दूं, स्त्री हूं, स्वयं ही, स्वयं  के लिए ही लिखूं और कौन लिख सकेगा मुझपर इतना ? जितना कि मै खुद के लिए लिखूं अपना ...

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1.

ज्योत्सना

4 5 1 मिनट
11 दिसम्बर 2024