ये लेख एक सुरुआत है तथा इसका सम्बन्ध किसी भी जाति से नही है ,अगर इस लेख को पढ़ कर किसी को कोई दुःख या खेद होता है तो लेखक इसके लिए क्षमा चाहता है .. भारतीय समाज हमेंशा एक जाति प्रधान एवं सामजिक ...
मै रवि दास एक दीन हीन आशिक हूँ जो प्रेम लघु कथाए लिख लेता है जिसमे भूतिया कथाए भी शामिल है । जो मेरे तथा मेरी काल्पनिक प्रेमिका प्रिया के आस पास घूमती नजर आती है ।
सारांश
मै रवि दास एक दीन हीन आशिक हूँ जो प्रेम लघु कथाए लिख लेता है जिसमे भूतिया कथाए भी शामिल है । जो मेरे तथा मेरी काल्पनिक प्रेमिका प्रिया के आस पास घूमती नजर आती है ।
रिपोर्ट की समस्या
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