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रूह की सरगोशियाँ ( the man of my dreams)

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(एक मोहब्बत जो वक्त और मौत से परे थी) उसे पहली बार पहाड़ों की उस चोटी पर देखा था, जहां हवा भी शायरी बनकर बहती थी। वो अकेला बैठा था — उसके सामने स्केच बुक खुली थी, उंगलियाँ पेंसिल से कुछ रच रही थीं, ...

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लेखक के बारे में
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Shina

सपनों को पाने की चाहत, मेहनत को अपना साथी बना लेती है।

समीक्षा
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    आपकी रेटिंग

  • कुल टिप्पणी
  • author
    NIRAJ
    20 अप्रैल 2025
    अप्रतिम, अनमोल, अमूल्य रचना,
  • author
    Mahi ❤️
    20 अप्रैल 2025
    Accha likha hai aapne
  • author
    Lipi
    20 अप्रैल 2025
    very good writing
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    NIRAJ
    20 अप्रैल 2025
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    20 अप्रैल 2025
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    Lipi
    20 अप्रैल 2025
    very good writing