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पाप और पुण्य

4.8
207

मनुष्य जो कुछ करता है उसे यह मालूम रहता है कि वह पाप कर रहा है या पुण्य: इसी पर आधारित " एक सन्यासी और सर्प" की  कहानी।। आप को यह कहानी जरूर पढ़नी चाहिए।

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लेखक के बारे में
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Ajeet Pandey

समाज मे इज्जत बनाने में सालों बीत जाते है लेकिन उसी इज्जत को गवाने में सिर्फ दो मिंट लगते है हमारा मान हमारी शान ही हमारी सबसे बड़ी पूंजी है। जिसे हमें आज सुरक्षित रखना है।

समीक्षा
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    आपकी रेटिंग

  • कुल टिप्पणी
  • author
    Vijendra Singh
    26 मई 2020
    सुन्दर कृति
  • author
    ANUJ TIWARI OFFICIAL CHANNEL
    03 मई 2020
    Nice story
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    Vijendra Singh
    26 मई 2020
    सुन्दर कृति
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    03 मई 2020
    Nice story