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बेटी की दोनों किडनियाँ खराब होने बारे पता चला तो परमेसर सिहर उठा। बेटी के तो बच्चे भी अभी बहुत छोटे हैं। दो वक्त की रोटी के लिए भी बहुत मशक्कत करनी पड़ती है। ऐसे में उसकी जान पर मंडराता संकट। उसने ...

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लेखक के बारे में

नाम- ज्योत्स्ना ' कपिल ' जन्मतिथि एवम जन्म स्थान - 2 अगस्त 1974,लखनऊ। शिक्षा - स्नातकोत्तर ( अंग्रेजी साहित्य ),बी एड । व्यवसाय - कई वर्ष तक पब्लिक स्कूल में शिक्षण। सम्प्रति - स्वतन्त्र लेखन। विधाएं - छंद मुक्त कविता, कहानी,लघुकथा, उपन्यास, संस्मरण, आलेख। प्रकाशन - विभिन्न प्रतिष्ठित साहित्यिक पत्र, पत्रिकाओं एवम वेबसाइट में रचनाओं का प्रकाशन ( मिन्नी एवम प्रतिमान - पंजाबी में, गगनांचल, सरस्वती सुमन, साहित्य अमृत, हिंदी चेतना, हंस, चम्पक, कादम्बिनी, प्रेरणा अंशु, खुशबू मेरे देश की, अविराम साहित्यकी, साहित्य समीर दस्तक ) पुरवाई, हस्ताक्षर, प्रतिलिपि, मातृभारती, सेतु, जय विजय, साहित्य सुधा। संकलन - कविता अभिराम, लघुकथा अनवरत, नई सदी की लघुकथाएं, प्रतिनिधि लघुकथाएं, बून्द बून्द सागर, सपने बुनते हुए,अपने अपने क्षितिज। संग्रह - कहानी संग्रह- प्यासी नदी बहती रही, लघुकथा संग्रह - लिखी हुई इबारत। उपन्यास - उर्वशी ( मातृभारती द्वारा धारावाहिक के रूप में प्रकाशित ) वह बुरी लड़की ( प्रकाशनाधीन ) सम्पादन - लघुकथा संकलन- आस पास से गुजरते हुए (विश्व पुस्तक मेला 2018,नई दिल्ली ), समकालीन प्रेमविषयक लघुकथाएं ( विश्व पुस्तक मेला 2019,नई दिल्ली)। अविराम साहित्यिकी ( त्रैमासिक साहित्यिक पत्रिका )में सह सम्पादक प्रसारण -  आकाशवाणी बरेली द्वारा निरन्तर कहानी एवम लघुकथाओं का प्रसारण।  सम्पर्क - 9412291372,

समीक्षा
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    आपकी रेटिंग

  • कुल टिप्पणी
  • author
    Sanjeev Kumar
    25 अगस्त 2018
    मुफ़्त के लोभ लालच में ऐसा ही शोषण होता रहेगा,
  • author
    कृष्ण अग्रवाल
    16 फ़रवरी 2017
    गरीबी का मोल
  • author
    Jitendra Solanki
    21 नवम्बर 2020
    गरीबी व अशिक्षा को उजागर करती एक बेहतरीन लघुकथा
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  • author
    Sanjeev Kumar
    25 अगस्त 2018
    मुफ़्त के लोभ लालच में ऐसा ही शोषण होता रहेगा,
  • author
    कृष्ण अग्रवाल
    16 फ़रवरी 2017
    गरीबी का मोल
  • author
    Jitendra Solanki
    21 नवम्बर 2020
    गरीबी व अशिक्षा को उजागर करती एक बेहतरीन लघुकथा