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झन भूलो अपन माँ बाप ल

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😁 झन भूलो अपन माँ बाप ल 😁  ************************* आगे कइसन जमाना संगी काकरो नई होवत हे जोखा कलजुग के करतब ल देख दाई -ददा खावत हे धोखा।। *********************** ...

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लेखक के बारे में
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Harmankumar Baghel

मैं हरमन कुमार बघेल व्याख्याता शास.क.उ.मा.वि.आरंग रायपुर छ.ग. आज के परिवेश में सहज-सरल समझने योग्य मेरी मुक्त कवितायें आप सभी श्रेष्ठ जनों को पसंद आ रही है तो मेरी रचना एक बार अवश्य पढ़े व अपना आशीर्वाद अवश्य बनायें रखें।

समीक्षा
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    आपकी रेटिंग

  • कुल टिप्पणी
  • author
    mehar singh
    24 मार्च 2022
    बहुत ही सुन्दर रचना झन भूलो माँ बाप ला 👌👌💖👨‍👩‍👦‍👦
  • author
    KHILESH KUMAR
    24 मार्च 2022
    🙏झन भूलों. माँ बाप. ला 🙏
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  • कुल टिप्पणी
  • author
    mehar singh
    24 मार्च 2022
    बहुत ही सुन्दर रचना झन भूलो माँ बाप ला 👌👌💖👨‍👩‍👦‍👦
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    KHILESH KUMAR
    24 मार्च 2022
    🙏झन भूलों. माँ बाप. ला 🙏