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दिया ( संस्कारी नारी)

4.6
29

दिया (संस्कारी नारी) दिये का इम्तिहान..... हवाएं ले रही थी....... बाती और अग्नि...... दांव पर लगी थी...... कभी लौ इधर...... कभी लौ उधर....... हवा भी सांय सांय...... चल रही ...

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Saumya Dua
समीक्षा
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  • कुल टिप्पणी
  • author
    Narender Dhankar
    24 नवम्बर 2019
    बहुत ही सुन्दर रचना आभार
  • author
    दोलन रॉय "रॉय"
    24 नवम्बर 2019
    बहुत सुंदर रचना अनंत शुभकामनाएं
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  • author
    Narender Dhankar
    24 नवम्बर 2019
    बहुत ही सुन्दर रचना आभार
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    दोलन रॉय "रॉय"
    24 नवम्बर 2019
    बहुत सुंदर रचना अनंत शुभकामनाएं