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असली खेल

4.7
1374

विमान अपनी पूरी रफ्तार के साथ सीधी रेखा में गतिमान था। सारे यात्री सुकून के साथ अपनी सीटों पर बैठे हुए अपनी मंजिल का इंतिजार कर रहे थे। इसी विमान में एक नवविवाहित जोड़ा भी मौजूद था जिसकी यात्रा ...

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लेखक के बारे में
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जीशान जैदी

जन्म 18 अक्तूबर 1973, एम.एस.सी(मैथेमैटिकल स्टेटिस्टिक्स) व पीएचडी (स्टेटिस्टिक्स) की साइंसी शैक्षिक पृष्ठभूमि के साथ विगत सोलह वर्षाे से अनवरत लेखन। जिनमें लघु कथाएं, उपन्यास, ड्रामे, टेलीफिल्मस, टीवी सीरियल इत्यादि शामिल हैं। विज्ञान कथाएं ( साइंस फिक्षन ) व हास्य लेखन में विष्ेाष रूचि। प्रकाशित पुस्तकों में प्रोफेसर मंकी (2006) व कम्प्यूटर की मौत (2008) विज्ञान कथा संग्रह हैं, बुड्ढा फ्यूचर (2011) विज्ञान कथा नाटक है साथ ही थियोलोजी से सम्बन्धित दो पुस्तकें खुदा का वजूद और साइंस की दलीलें (2001) व 51 जदीद साइंसी तहक़ीकात (2011) भी प्रकाशित। दो उपन्यास ताबूत व मौत की तरंगें विज्ञान कथा पत्रिका में धारावाहिक रूप में प्रकाशित। अनजान पड़ोसी, नादान मुजरिम, जिस्म खोने के बाद, ऊंचाईयों के पार, कम्प्यूटर की मौत, कार का चक्कर, कैदी ऊर्जा, मैन मिसाइल, रोशनी का वाहन, एडहिसिव, ज़ेड वन, खयाली संगीतकार, सिलिकन मैन, वैज्ञानिक राजकुमारी, बदलता मौसम, मुर्दे की आवाज़, एथलीट, परिवर्तन, बचाने वाला, अंडर एस्टीमेट, असली खेल, असली नकली, उल्टा दाँव, अवतार, तस्वीर, बौना मामला, झूमती नागिन, तेरी दुनिया मेरे सपने, मजबूर आसमान, दंगाई बंजारे, अपनी दुनिया से दूर, खून का रिश्ता इत्यादि पचास से अधिक कहानियां देश की प्रमुख पत्र पत्रिकाओं विज्ञान प्रगति, विज्ञान कथा, सरिता, आविष्कार, विज्ञान, इलेक्ट्रानिकी आपके लिए इत्यादि में प्रकाशित। कई कहानियां बंगाली, मराठी व गुजराती इत्यादि भाषाओं में अनुदूदित। मंचित नाटकों में प्रमुख हैं - उठाये जा सितम, पानी कहाँ हो तुम, बहू की तलाष, चोर चोर मौसेरे, हाय ये मैली हवा, ये है डाक्टरी वर्कषाप, ये दिल माँगे पाॅप, कहानी परलोक की, हाजिर हो, सौ साल बाद,माडर्न हातिमताई, अकबर की जोधा, ऊंची टोपी वाले, पागल बीवी का महबूब, बुड्ढा फ्यूचर इत्यादि जिनमें अंतिम तीन विज्ञान कथात्मक हैं। लखनऊ दूरदर्शन से प्रसारित टीवी सीरियल दिल का मामला व हम भी हैं इंसान का लेखन। हिंदी साइंस फिक्शन ब्लाग, वेब साइट के उपसंपादक व प्रमुख लेखक लेखन के क्षेत्र में आईसेक्ट भोपाल द्वारा डा0सी0वी0रमन पुरस्कार से सम्मानित, संवाद डाट काॅम की ओर से संवाद सम्मान, अवधनामा दैनिक की ओर से टीचर आॅफ टीचर्स अवार्ड तथा ‘सलाम लखनऊ’ की ओर से ‘मुसन्निफे अवध सम्मान’ प्राप्त। ऋचा प्रकाशन की ओर से साहित्य भूषण की उपाधि। नेशनल काउंसिल आफ साइंस एण्ड टेक्नालाॅजी कम्यूनिकेशन (छब्ैज्ब्) द्वारा मान्यता प्राप्त विज्ञान संचारक सम्प्रति: एरा मेडिकल कालेज में व्याख्याता एवं स्वतन्त्र टीवी व फिल्म स्क्रिप्ट लेखन।

समीक्षा
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    आपकी रेटिंग

  • कुल टिप्पणी
  • author
    asha singh
    25 मई 2020
    बहुत सुंदर कहानी। शरारती बच्चों से कहिए क्यों ऐसे ही कोरॉना और भ्रष्ट राजनेताओं को किसी और लोक में ले जाकर छोड़ दें।
  • author
    Pallavi Srivastava
    24 मई 2020
    Bahut achhi story
  • author
    Pradeep Swarnkar
    02 नवम्बर 2020
    बहुत ही शानदार ....एक बहुत उच्च स्तर की विज्ञान कथा ...👌
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  • author
    asha singh
    25 मई 2020
    बहुत सुंदर कहानी। शरारती बच्चों से कहिए क्यों ऐसे ही कोरॉना और भ्रष्ट राजनेताओं को किसी और लोक में ले जाकर छोड़ दें।
  • author
    Pallavi Srivastava
    24 मई 2020
    Bahut achhi story
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    Pradeep Swarnkar
    02 नवम्बर 2020
    बहुत ही शानदार ....एक बहुत उच्च स्तर की विज्ञान कथा ...👌