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179 मनस्थिति बदलो

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आध्यात्मिक चिंतन

मुझे जरूरत नहीं है, इच्छा भी नहीं है, मेरे पास भी नहीं है, कोई देगा तो लूंगा भी नहीं।

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लेखक के बारे में
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Lokeshanand Paramhans

अ दुनिया के थके माँदे लोगों आओ मेरे पास मैंने वो स्थान ढूंढ लिया है जहाँ दुख नहीं है।

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    Rajni Gupta
    08 फ़रवरी 2019
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    Rajni Gupta
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