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फ्लैट नंबर २१३(अंतिम भाग)

4.6
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जेसे ही रवि के बारे में सनाया को पता चला वो तुरंत वैभव के पास आ गई ... दूसरे दिन सुबह ..सविता उनलोगो के घर आई .. आइये सविताजी !! सनाया ने अंदर आने का इशारा करते हुए कहा वैभव के दोस्त के साथ जो ...

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लेखक के बारे में
author
Sagar Mehta

मेरे बारे मे...मे आपसे क्या कहु?? मेरी टेढ़ी मेढ़ी कहानिया और मेरी कहानियो के अच्छे बुरे किरदार..यही मेरी पेहचान है .... मेरे शब्द मेरी पहचान बने तो बेहतर है...चेहरे का क्या है.. चला जायेगा मेरे साथ ही एक दिन…!!!

समीक्षा
  • author
    आपकी रेटिंग

  • कुल टिप्पणी
  • author
    यशवी शाह
    06 ಮೇ 2019
    सुंदर लेखन.. लिखना बंध मत करियेगा.. आप अच्छा लिखते है हो सकेतो प्रेम के ऊपर लिखयेगा.. आपकी अगली कहानी का इंतजार रहेगा...
  • author
    Yakoob Khan "Anshu"
    27 ಮೇ 2019
    सरला की आत्मा को आखिर मुक्ति मिल ही गई।बहुत मनोरंजक कहानी।
  • author
    Pratima Preet
    19 ಮಾರ್ಚ್ 2023
    pahli kahani me 1 rating diya tha isme 5 de rahi hu achchi kahani h
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    यशवी शाह
    06 ಮೇ 2019
    सुंदर लेखन.. लिखना बंध मत करियेगा.. आप अच्छा लिखते है हो सकेतो प्रेम के ऊपर लिखयेगा.. आपकी अगली कहानी का इंतजार रहेगा...
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    Yakoob Khan "Anshu"
    27 ಮೇ 2019
    सरला की आत्मा को आखिर मुक्ति मिल ही गई।बहुत मनोरंजक कहानी।
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    Pratima Preet
    19 ಮಾರ್ಚ್ 2023
    pahli kahani me 1 rating diya tha isme 5 de rahi hu achchi kahani h