मेरा बावरा मन यह स्वीकार करता है कि विद्यमान संकट की घड़ी क्षणिक है। हमारी ही गलतियों अर्थात् प्रकृति के विरुद्ध किया गया कार्य का ही परिणाम हैं। अंतः प्रकृति के स्वामी की उपासना हेतु मैं यहाँ ...
मेरा बावरा मन यह स्वीकार करता है कि विद्यमान संकट की घड़ी क्षणिक है। हमारी ही गलतियों अर्थात् प्रकृति के विरुद्ध किया गया कार्य का ही परिणाम हैं। अंतः प्रकृति के स्वामी की उपासना हेतु मैं यहाँ ...