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प्यार बेहिसाब बनके आ

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मेरी रातों का तू ख्वाब बनके आ, मेरी ज़िंदगी में आफताब बनके आ..! जिसे पढ़कर मैं भी सीख जाऊ प्यार करना, मोहब्बत की ऐसी कोई किताब बनके आ..! मैं भी तन्हा और बेसब्र सा बैठा हूं, तू भी थोड़ी बेताब बनके ...

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हिरेन शाह
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