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पूस की रात कहानी समीक्षा

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खेती हर किसान की कहानी की समीक्षा जिसमें वो साहूकार का कर्ज उतारना मुनासिब समझता हैं ,इसके लिए वो पैंटी के लाख मना करने पर कम्बल के लिए बचाये पैसे से कर्ज उतार देकर अपने स्वाभिमान को बचाये रखता हैं.