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मेरी शायरी मेरी आवाज़

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1.  इस क़दर वो शख़्स नाराज़ है मुझसे,      के नज़र भी मिलाता है तो बस मुझे ज़िंदा रखने को।। 2.  सुकून कुछ इस क़दर मिला है तेरे दीदार से,      के मुद्दतों बाद कोई दुआ कबूल हुई हो जैसे ।। ...

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DG Studio Ambala
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