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गली ग़ालिब की

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4.3

रूस के गोर्की टाउन से कर इंग्लैण्ड के स्टार्टफोर्ड अपोन एवोन तक और मास्को के पुश्किन हाउस से लेकर लन्दन के कीट्स हाउस तक। ज़ब जब किसी लेखक या शायर का घर, गाँव सुन्दरतम तरीके से संरक्षित देखा हर बार मन में एक हूक उठी कि काश ऐसा ही कुछ हमारे देश में भी होता। काश लुम्बनी को भी एक यादगार संग्रहालय के तौर पर संरक्षित रख, यात्रियों और प्रशंसकों के लिए विकसित किया जाता, काश महादेवी वर्मा का घर कौड़ियों के दाम न बेचा जाता, काश आगरा की उस आलीशान हवेली में लड़कियों का कॉलेज न खोल दिया जाता जहाँ ...