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।। ये फिसलते हुए लम्हे ।।

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ये बिछड़ते हुए लम्हे, ये फिसलते हुए लम्हे। पल - पल हर इक लम्हा.. हाथों से फिसल, रहा हो ऐसे, हथेलियों पर.. बारिश की बूँदें, फिसलती हैं जैसे। धीरे-धीरे.. दिन रात ढ़लती है। आहिस्ता-आहिस्ता, समय ...