" काकी! यह बेटी नही मेरा बेटा है! और पूत कपूत का धन संचय, पूत सपूत का धन संचय! उसकी पत्नी जब भी उसको घर बुहारने, बरतन वासन साफ करने मे लगाती, औतार जोर से चिल्लाने लगता था।
" काकी! यह बेटी नही मेरा बेटा है! और पूत कपूत का धन संचय, पूत सपूत का धन संचय! उसकी पत्नी जब भी उसको घर बुहारने, बरतन वासन साफ करने मे लगाती, औतार जोर से चिल्लाने लगता था।