pratilipi-logo प्रतिलिपि
हिन्दी

भ्रष्टाचार

0

बिहार की माटी पर फैला है अंधकार, हर गली, हर चौक पर, बिखरा भ्रष्टाचार। नेता बने हैं दानव, चुपचाप खड़े, जनता की उम्मीदें, जैसे टूटे पड़े। खादी की चादर में, छुपे हैं कई चेहरे, हर फाइल में नोट, हर बस्ते ...