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हिन्दी

आहुति

4.5
6994

आनन्द ने गद्देदार कुर्सी पर बैठकर सिगार जलाते हुए कहा-आज विशम्भर ने कैसी हिमाकत की! इम्तहान करीब है और आप आज वालण्टियर बन बैठे। कहीं पकड़ गये, तो इम्तहान से हाथ धोएँगे। मेरा तो खयाल है कि वजीफ़ा भी ...

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लेखक के बारे में

मूल नाम : धनपत राय श्रीवास्तव उपनाम : मुंशी प्रेमचंद, नवाब राय, उपन्यास सम्राट जन्म : 31 जुलाई 1880, लमही, वाराणसी (उत्तर प्रदेश) देहावसान : 8 अक्टूबर 1936 भाषा : हिंदी, उर्दू विधाएँ : कहानी, उपन्यास, नाटक, वैचारिक लेख, बाल साहित्य   मुंशी प्रेमचंद हिन्दी के महानतम साहित्यकारों में से एक हैं, आधुनिक हिन्दी कहानी के पितामह माने जाने वाले प्रेमचंद ने स्वयं तो अनेकानेक कालजयी कहानियों एवं उपन्यासों की रचना की ही, साथ ही उन्होने हिन्दी साहित्यकारों की एक पूरी पीढ़ी को भी प्रभावित किया और आदर्शोन्मुख यथार्थवादी कहानियों की परंपरा कायम की|  अपने जीवनकाल में प्रेमचंद ने 250 से अधिक कहानियों, 15 से अधिक उपन्यासों एवं अनेक लेख, नाटक एवं अनुवादों की रचना की, उनकी अनेक रचनाओं का भारत की एवं अन्य राष्ट्रों की विभिन्न भाषाओं में अन्यवाद भी हुआ है। इनकी रचनाओं को आधार में रखते हुए अनेक फिल्मों धारावाहिकों को निर्माण भी हो चुका है।

समीक्षा
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  • कुल टिप्पणी
  • author
    Varsha Mishra
    27 जुलाई 2021
    मेरी तो हैसियत ही नहीं की मैं इतने दिग्गज लेखक के लिख के बारे में कुछ कह सकूं, बस इतना ही कि उनके लेखों से बहुत कुछ सीखने को मिलता है ।
  • author
    21 मई 2017
    त्याग और क्रांति जगाने को सम्पूर्ण कहानी!
  • author
    पवनेश मिश्रा
    11 अप्रैल 2020
    कथा सम्राट के कृतित्व को सादर नमन 🙏🌹🙏,
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    Varsha Mishra
    27 जुलाई 2021
    मेरी तो हैसियत ही नहीं की मैं इतने दिग्गज लेखक के लिख के बारे में कुछ कह सकूं, बस इतना ही कि उनके लेखों से बहुत कुछ सीखने को मिलता है ।
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    21 मई 2017
    त्याग और क्रांति जगाने को सम्पूर्ण कहानी!
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    पवनेश मिश्रा
    11 अप्रैल 2020
    कथा सम्राट के कृतित्व को सादर नमन 🙏🌹🙏,