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शत शत प्रणाम कमला देवी

4.7
88

जैसे ही लॉकडाउन की घोषणा हुई सबसे पहले मेरा दिल जिस चीज के लिए डूब गया वह मेरी सहायक का ना आना था जिनका नाम कमला देवी है।        हे भगवान !झाड़ू ,पोछा ,बर्तन ,खाना बनाना सब काम खुद करना पड़ेगा। जब ...

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लेखक के बारे में
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Ritu Goel

वैसे तो खुली किताब हूं मैं, ना समझो तो गहरी पहेली हूं मैं उड़ती हूं परिंदों की तरह खुली हवा आशियाना मेरा

समीक्षा
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    आपकी रेटिंग

  • कुल टिप्पणी
  • author
    Harsha verma
    06 जुलाई 2021
    shi kaha mam aapne bilkul hme unki kdr bhi tbhi hoti h jb unki jgh hm kaam krte hai tb apne ko feel hota hai wo kitna kaam krte h bs kisi ko kuchh khte nhi apne unko daant bhi dete hai fir bhi wo utna hi kaam krte hai aapne bhut achha likha kamla ke liye very nice mam👌🏻👌🏻👌🏻👍🏻👍🏻😍😍
  • author
    Sanjay Ni_ra_la
    06 जुलाई 2021
    कभी कभी कुछ चीजों का एहसास हमें तब होता है जब वो हमसे दूर होता है... लाज़वाब उम्दा संस्मरण
  • author
    श्वेता विजय mishra
    07 जुलाई 2021
    बहुत सही सटीक बेहतरीन और सार्थक बात कहती हुई रचना लिखी आपने बहुत खूब
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    Harsha verma
    06 जुलाई 2021
    shi kaha mam aapne bilkul hme unki kdr bhi tbhi hoti h jb unki jgh hm kaam krte hai tb apne ko feel hota hai wo kitna kaam krte h bs kisi ko kuchh khte nhi apne unko daant bhi dete hai fir bhi wo utna hi kaam krte hai aapne bhut achha likha kamla ke liye very nice mam👌🏻👌🏻👌🏻👍🏻👍🏻😍😍
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    Sanjay Ni_ra_la
    06 जुलाई 2021
    कभी कभी कुछ चीजों का एहसास हमें तब होता है जब वो हमसे दूर होता है... लाज़वाब उम्दा संस्मरण
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    श्वेता विजय mishra
    07 जुलाई 2021
    बहुत सही सटीक बेहतरीन और सार्थक बात कहती हुई रचना लिखी आपने बहुत खूब