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करवा चौथ बनाम सुखी गृहस्थी डॉ सुशील शर्मा दाम्पत्य के रिश्ते चन्द्रमा के चाहने से चलते हैं या उन्हें चाहिए विश्वास और स्नेह की कसौटी। खट्टी मीठी यादों ,बहसों एवं लड़ाइयों से सजे रिश्ते महज करवा चौथ के ...
समीक्ष्य पुस्तक :- टोकरी में दिगंत , थेरी गाथा : 2014 समीक्षक : अर्पण कुमार मूलतः एक कवयित्री के रूप में पहचान बनानेवाली और कहानी, उपन्यास, आलोचना सहित कई दूसरी विधाओं में समान रूप से सक्रिय अनामिका ...
अब मानसिक समस्याग्रस्त लोगों के साथ काम करते हुए लगभग एक महीना बीतने वाला था । धीरे धीरे हमें अच्छा लगने लगा था मरीजों का साथ रोज नए नए केस देखने को मिलते थे उनके साथ बैठ कर उनकी समस्याओं को समझने की ...
मन की पूर्ण अभिव्यक्ति -आधुनिक कविता सुशील शर्मा यह सुविदित है कि आधुनिक हिंदी कविता को नया सौंदर्यबोध और नई अर्थवत्ता प्रदान करने में प्रयोगवाद की भूमिका अवश्य रही है।प्रयोगवाद व नई कविता में भेद ...
मारग्रेट एनी जाॅनसन जिसे माया एंजेलो के नाम से पश्चिमी साहित्यिक दुनिया जानती है का 28 मई, 2014 को 86 वर्ष की उम्र में निधन हो गया. अपनी आत्मकथा ‘आई नो वाइ द केजड बर्ड सिंगस’ में माया एंजेलो ने अपने ...
आज के दौर के फिल्म संगीत और गाने के प्रेमियों के लिए मुबारक बेगम का नाम भले ही अनजाना हो लेकिन साठ और सत्तर के दशक में मुबारक बेगम के गाए गीत खूब लोकप्रिय हुआ करते थे । मुबारक बेगम ने एक सौ पंद्रह ...
प्रिय बच्चे शुभाशीष तुम्हे जब यह पत्र मिलेगा तो तुम्हे अचरज तो जरूर होगा। अचंभित तो मैं भी हूँ मैंने कभी सोचा नहीं था कि कभी ऐसा दिन आएगा कि तुम्हे पत्र लिखना पड़ेगा। अब तक हजारों लाखों वर्षों से मैं ...
पुरुष , पुरुष है क्या ? पुरुष वह है जो समाज में एक दोस्त , प्रेमी , पति ,भाई ,और पिता के रूप में पाया जाता है .पुरातन समय में समाज पूरी तरह से पुरुष प्रधान ही था , महिलाओ क अधिकार अति सिमित हुआ करते ...
हमने कितने ही युवाओं के मुंह से ये शब्द सुने होंगे "माय वाइफ इज़ माय लाइफ "।क्या आप सहमत हैं इस लाइन से।मुझे आज फिर अफ़सोस हुआ आज के युवाओं की इस सोच पर अगर वाइफ उनकी लाइफ है तो वो कौन हैं जिनकी लाइफ ...
हिन्दुस्तान सोशलिस्ट रिपब्लिकन एसोशिएशन का घोषणा पत्र [लाहौर कांग्रेस में बांटे गए इस दस्तावेज़ को मुख्य तौर पर भगवतीचरण वोहरा ने लिखा था। दुर्गा भाभी और अन्य क्रान्तिकारी साथियों ने इसे वहाँ वितरित ...
हिंदी साहित्य में जब नब्बे के दशक में स्त्री विमर्श की आंधी चल रही थी तब किसी ने सोचा भी नहीं होगा कि हिंदी फिल्मों में भी प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से इसका असर देखने को मिलेगा । साहित्य में स्त्री ...
रवींद्र नाथ टैगोर के बांग्ला लेख का हिंदी अनुवाद एक समय की बात है | एक कन्या एक कहानी का निर्माण कर रही है | उस कहानी में उसने मुझे नायक (हीरो) के रूप में प्रस्तुत किया | वह चाहती थी की कहानी का ...
जब कभी वो कहते हैं ,थोडा आराम कर लो।थक जाती होगी।सुबह रोज घुमने जाना ,फिर एक्सरसाइज।फिर घर का काम। मैं ,हैरत से उनका चेहरा देखती हूँ।बस इतने से घुमने से कोई थकता है ? हम तो थकना ही चाहते हैं।पर बहुत ...
<p>नमस्कार,</p> <p>बारिश के मौसम से कुछ प्रेरणा पूर्ण बातें समझते हैं- ‌ </p> <p>आज जब कार्यालय से निकलकर घर की ओर जा रहा था तो वर्षा के कारण एक जगह रुका और सुंदर से बारिश के ...
<p>हिंदी लेखन का आर्थिक परिदृश्य(हिंदी पखवाड़ेपर)</p> <p>हिंदी विश्व की चौथी सबसे बड़ी भाषा है. केवल बोलने वाले लोगों की संख्या को<br /> को लिया जाये तो यह आज दूसरी भाषा के तौर पर मानी जा रही है. ...