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नवम्बर का आखिरी हफ्ता चल रहा था और हवा में हल्की सी खुनकी तैरने लगी थी।अभी ठंड आई तो नहीं थी पर मौसम बहुत खूबसूरत था। खूबसूरत फूलों का मौसम।मेरा लान भी फूलों से भरा था । जान बसती है मेरी इन पौधों में ...
सब कुछ अचानक ही हो गया था जैसे। सगाई और ब्याह के बीच का फासला इतना कम रहा कि उसे और कुछ सोचने-बूझने का अवसर ही नहीं मिला। कपड़े की गुड़िया के समान उसे यहां से वहां ऐसे कर दिया गया जैसे उसका अपना कोई ...
अयोध्या नगरी में वीरकेतु नाम का राजा राज्य करता था। उसके राज्य में रत्नदत्त नाम का एक साहूकार था, जिसके रत्नवती नाम की एक लड़की थी। वह सुंदर थी। वह पुरुष के भेष में रहा करती थी और किसी से भी ब्याह ...
ट्रिंग-ट्रिंग-ट्रिंग...घंटी बजे जा रही थी | सविता किचेन में थी | “उफ़ ! अभी तो उठाया था, अब कौन है |” यों बड़बड़ाती हुई वह दौड़कर फ़ोन तक आयी | सविता ने फ़ोन उठाया तो उधर रवि था, उसका पति | सविता झुंझलाहट ...
"दीदी मेरी एक सहेली मुसीबत में है। असल में वह एक धोखे का शिकार हो गई है। आपसे कुछ सलाह-मशवरा करना चाहती है। आपसे बिना पूछे ही मैंने उसे यहाँ आने को कह दिया है। मैंने कुछ गलत तो नहीं किया दीदी ? ...
लड़की मेरी आँखों में किसी अश्लील इच्छा की तरह नाच रही थी। 'पेट्रोल भरवा लें।' कह कर कमल ने अपनी लाल मारुति जुहू बीच जानेवाली सड़क के किनारे बने पेट्रोल पंप पर रोक दी थी और दरवाजा खोल कर बाहर उतर गया ...
बहुत खूबसूरत थी वो लड़कपन में। लड़कपन में तो सभी खूबसूरत होते है। क्या लड़के , क्या लड़कियां। पर वह कुछ ज्यादा ही खूबसूरत थी। वो लड़की जो थी। लड़कियां हर हाल में लड़कों से ज्यादा खूबसूरत होती है। ये मैने ...
switu001 - 'थोड़ा स्क्रीन नीचे करो ..तुम्हारा मुह सिर्फ दिख रहा है..' monz1992 - ' मुह के अलावा भी किसी में दिलचस्पी रखते हो ?' switu001 - ' ऐसा लगता है आप शायद यहाँ नयी है .. हाहा .. कोई बात नहीं यह ...
ईंट सीमेंट की बनी दड़बानुमा इमारत की दर्जनों खिड़कियाँ उस बदनाम सड़क की तरफ खुलती थीं, जहाँ शाम डूबते डूबते रंगीनियाँ जवान होने लगतीं थीं। हर खिड़की से एक उदास लिपा पुता चेहरा होंठो पर कुछ अश्लील फिकरे ...
गर्मियों की छुट्टी के बाद कॉलेज का पहला दिन था | पहले ही नयन को बहुत देर हो चुकी थी | अपना कॉलेज बैग उठाया, माँ को बाय कहा और बस स्टॉप की तरफ भागी | बस स्टॉप घर से १० मिनट की दूरी पर था और सिर्फ ५ ...
मैंने झुंझलाते हुए रिजर्वेशन चार्ट में अपनी सीट देखी . आदत से मजबुर अपने बगल वाली सीट के यात्री का विवरण भी देखने लगा . नाम : रूचि मिश्रा , उम्र , 27 साल . सोचा चलो सफर अच्छा रहेगा . " रूचि मिश्रा" ...
जेठ रखवाली के लिए आ गए थे। क्योंकि- पति को कम्पनी ने अमेरिका भेज दिया था। मुसीबत ये नहीं कि यहां मैं अकेली कैसे रहती! शहर की सुरक्षित मल्टी, आसपास अच्छे लोग...। फिर उन्हें भी इतनी फुरसत कहां कि ...
मौसम अपने पूरे शबाब पर था , साँझ धीरे से झीने काले दुपट्टे मे अपने अंगों को ढ़क रही थी । लाखो मद मस्त दिल अपनी आँखों के दांतों तले साँझ का शबाब चबा रहे थे , पर वो इन सब से बेखबर अपने टाइपराइटर की ...
" उस रात भी मैंने आखिरी बार फेसबुक चेक कर के लैपटॉप एक तरफ रखा. फोन उठाया, निखिल के पाँच मैसेजिस आये हुए थे. कुछ ग्रुप्स में भी वाट्सअप पर बातें हो रखी थी. निखिल को जवाब देकर मैंने प्रत्युत्तर की ...
रविवार शाम : योगेश ने अमर को फ़ोन किया . “मैं रात ९ बजे तक इंदौर पहुँच जाऊँगा. तुम एअरपोर्ट पर मिलने आ जाना. हम वही बात करेंगे” . अमर ने कहा “ठीक है बॉस ..!” रविवार रात : अहमदाबाद से आने वाली फ्लाईट ...